वैसे तो प्रत्येक गृहस्थ आश्रमी को नित्य ही पूजा-वंदन भगवान की आराधना करनी ही चाहिए।
- Pawan Dubey
- Feb 5, 2023
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वैसे तो प्रत्येक गृहस्थ आश्रमी को नित्य ही पूजा वंदन भगवान की आराधना करनी ही चाहिए। उनकी कृपा से हमें जब सब कुछ प्राप्त हो रहा है, तो उनकी आराधना प्रत्येक गृहस्थ आश्रमी परम कर्तव्य है, लेकिन पूजाओं में सर्वश्रेष्ठ पूजा मानस पूजा को माना गया है। यानी आपके पास कोई सामग्री है या नहीं। बस स्नानादि से निवृत्त होकर पूजा स्थल पर बैठ करके आंख बंद करके और ध्यान के द्वारा भगवान को भाव रूपी वस्तु अर्पित करिए। जितना लाभ आपको सामान्यतया इन सामग्रियों को समर्पित करने से मिलेगा जो लाभ। उससे कई- कई गुना अधिक लाभ मानस पूजा से प्राप्त हो जाएगा। तो नित्य यह अभ्यास करिए, कि 10 मिनट मानस पूजा करिए। और फिर चमत्कार देखिए।

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