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जन्मकुंडली का कोई भी भाव यदि उस भाव में कोई ग्रह ना हो, उस भाव पर

  • Pawan Dubey
  • Jan 29, 2023
  • 1 min read

जन्मकुंडली का कोई भी भाव यदि उस भाव में कोई ग्रह ना हो, उस भाव पर किसी ग्रह की दृष्टि ना हो, तो उस भाव को सुप्त भाव माना जाता है।और जो भी भाव सुप्त होता है। उससे संबंधित चीजों को प्राप्त करने में जीवन में बेहद कठिनाई आती है।अब उदाहरण से ले लीजिए,जन्म कुंडली का चतुर्थ भाव यह भाव सुप्त हो जाए,तो समझ लीजिए। आप लाख धन अर्जित कर लीजिए,उसका सुख नहीं मिलेगा। जन्म कुंडली का चतुर्थ भाव सुप्त हो,तो जातक को जीवन काल में भूमि और भवन प्राप्त करने में बेहद कठिनाई का सामना करना पड़ेगा। यदि आप अपने चतुर्थ भाव को सुप्त पा रहे हैं, तो मैं आपको कुछ उपाय बता दे रहा हूं। इस भाव को जागृत करने के लिए अपने चंद्रमा को बलि करिए। और चंद्रमा को बलि करने के लिए शिवजी की आराधना,पूर्णिमा का व्रत,माता की सेवा और प्रत्येक सोमवार को चंद्रमा पर दूध अर्पित करिए।और चांदी की अंगूठी का छल्ला कनिष्ठा उंगली में धारण करिए। चतुर्थ भाव जागृत हो जाएगा।

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